शीलता का भाव

नमस्कार दोस्तों आज हम भक्ति मार्ग में सबसे बड़ी बाधक उन 24 सिद्धियों के बारे में पढ़ेंगे यह ज्ञान सूक्ष्म वेद और परमात्मा के मुखारविंद से उच्चरित वाणी से संपूर्ण सिद्धियों का विवरण करेंगे “शब्द महल में सिद्धि चौबीसा हंस बिछोड़ें विश्वे विशा” शीलता का भाव
सच्चे गुरु से प्राप्त मंत्र की अधिक जप करने पर भक्तों में सिद्धियां आने लगती है जो कि भक्ति मार्ग में विष के समान है आइए जानते हैं उन 24 सिद्धियों के बारे में कौन सी है वह एक सिद्धि सूर् देव मिलावे एक सिद्धि मन वृति बतावे एक सिद्धि हो पवन सरूपी एक सिद्धि होवे अनुरूपी एक के सिद्धि निस्वासर जागे एक सिद्धि सेवक हो आगे एक सिद्धि सुर्गापुर ध्यावे एक सिद्धि जो सब घट चावे एक सिद्धि सब सागर पिवे एक सिद्धि जो युग युग जीवे एक सिद्धि जो उड़े आकाशा एक सिद्धि परलोके वासा एक सिद्धि कष्ट तन जारा एक सिद्धि तन हंस नियारा एक सिद्धि जल डूब ना जाई एक सिद्धि जल पैर ना लाई एक सिद्धि बहू छोले धारे एक सिद्धि निह तत विचारे एक सिद्धि पांचों तत नीरम एक सिद्धि जो वज्र शरिरम एक सिद्धि पीवे ना खाई एक सिद्धि जो गुप्त छिपाही एक सिद्धि जो ब्रह्मांड चलावे एक सिद्धि शब्द नाद मिलावे एता खेल खिलाड़ी खेलें सोहम हंसा प्रगट वेले चौबीसा को ना दिल चावे सो हंसा शब्द अतित कहावे परा सिद्धि पूर्ण पट रानी अमरलोक की कहूं निशानी अमरलोक सुखसागर पाया सतगुरु भेद कबीर लखाया परमहंस देखो परवाना जन कहता दास गरीब दीवाना शीलता का भाव अब इनका विस्तृत वर्णन करते हैं पहली सिद्धि है जो जिस भी देवता को मिलने की इच्छा हो तुरंत मिल सकता है दूसरी आगे वाले व्यक्ति के मन की वृत्ति को बता देती है की यह व्यक्ति क्या सोच रहा है किसके बारे में क्या सोच रहा है एक सिद्धि से आप पवन के समान सुक्ष्म हो सकते हैं एक सिद्धि से आप शीलता का भाव
जिसका रूप बनाना चाहते हैं उसके अनुरूप बन सकते हो एक सिद्धि के बल से किसी भी देवता के लोक में आ जा सकते हैं जैसे सुखदेव ऋषि आते जाते थे एक सिद्धि से आप सबके लिए बहुत ही लोकप्रिय हो सकते हैं सब आप के दीवाने हो जाएंगे एक सिद्धि ऐसी है कि आप निस्वासर 24 घंटा जागते रह सकते हैं जैसे अर्जुन का एक नाम निंद्रा विजय भी था एक सिद्धि के प्रताप से आपके आगे सेवकों की कमी नहीं रहती एक सिद्धि के बल से आप सातों समुद्रों को पी सकते हो जैसे अगस्त्य ऋषि ने समुंद्र को एक ही घूंट में पी लिया था एक सिद्धि के बल से लाखों वर्ष तक जीवित रह सकते हो एक सिद्धि के बल से आप आकाश में उड़ सकते हो बिना विमान के एक सिद्धि से जिस भी लोक में रहना चाहते शीलता का भाव
उसमें रह सकते हो एक सिद्धि से आप अपने या अन्य किसी के तन को स्वस्थ कर सकते हो चाहे जैसी भी बीमारी हो कोरोना से भी भयंकर क्यों ना हो एक सिद्धि के फल स्वरुप आप अपने स्थूल शरीर से अलग होकर अपने ही स्थूल शरीर को देख सकते हो एक सिद्धि के प्रताप से आप कोई भी जल में नहीं डूब सकते एक सिद्धि से आप जल पर चल सकते हो जैसे भूमि पर चल रहे हो ऐसे एक सिद्धि के बल से आप अनेक शरीर धारण कर सकते हो एक सिद्धि से आप नीह तत में स्थिर रहे सकते हैं अपने स्वरूप में एक सिद्धि के बल से पांचों तत्व आकाश वायु तेज जल पृथ्वी को निरम कर सकते हैं नीरन शब्द का अर्थ क्या है जानने के लिए कमेंट करें एक सिद्धि से अपने शरीर को वज्र के समान मजबूत बना सकते हैं जैसे दधीचि ऋषि का शरीर सिद्धि बल से वज्र के समान हो गया था एक सिद्धि केबल से आप बिना खाए पिए भी रह सकते हो एक सिद्धि से आप सबकी नजर से गुप्त छुप सकते हो एक सिद्धि से पूरे ब्रह्मांड को चला सकते हो एक सिद्धि से शब्द को नाद से मिला सकते हो शीलता का भाव
शब्द और नाद बहुत ही गहरा रहस्य है यह कोई पूरा गुरु ही बता सकते हैं अब आगे की जानकारी आपको सच्चा और पूर्ण गुरु ही बता सकते हैं इसके लिए मेरी यह पोस्ट (सच्चे संत के क्या लक्षण है वेदों में पूर्ण गुरु की क्या पहचान) वाली पोस्ट पढ़ें यह सब खेल भी कोई खिलाड़ी ही खेल सकता है जिसके पास सच्चे गुरु के दिए मंत्रों की सकती हो लेकिन इतना सब कुछ होते हुए भी जो इन सभी सिद्धियों को बिल्कुल भी कभी नहीं चाहे ऐसा भक्त संत तो विरले ही मिल सकते हैं ऐसा भक्त शब्द अतीत कहलाता है इन 24 सिद्धियां से परे एक परा सिद्धि है जो सब सिद्धियों की महारानी है जिससे अमरलोक की निशानी पता लगती है क्योंकि अमरलोक ही सच्चा सुख सागर है वहां गए बिना आपका द्वंद्व नहीं मिट सकता यह भेद सच्चे सतगुरु कबीर साहिब ने लखाया है परमहंस देखो परवाना गरीब दास जी अपने आंखों देखी सब वर्णन कर दी भक्ति मार्ग पर चल रहे साधक को इन सिद्धियों के प्रलोभन में कभी नहीं फंसना चाहिए नहीं तो उसको परा सिद्धि कभी नहीं मिल सकती जो वास्तविक सिद्धि है जो अमरलोक में मिलती है पूर्ण गुरु ही अपने साधक को इन प्रलोभनों से बसा सकते हैं शीलता का भाव आशा करता हूं कि यह सिद्धि के ऊपर की गई यह पोस्ट आपको पसंद आई होगी आपके जीवन में यह पोस्ट थोड़ी बहुत भी उपयोगी साबित हुई है तो इसे लाइक कमेंट शेयर जरूर करें धन्यवाद शीलता का भाव
Pingback: Gokul Anand Prem Ki Ek Adbhut Jhalak - bhaktigyans